कन्नौददेवास

हरियाली के लिए बढ़े हाथ पौधारोपण कर प्रकृति की सुरक्षा का लिया संकल्प

देवास। वर्षाकाल में नेहरू युवा केंद्र देवास के द्वारा जिले भर में अपने स्वयं सेवकों व युवा मंडल सदस्यों के माध्यम से प्रत्येक गांवों में पौधारोपण कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। संगठन के जिला युवा समन्वयक अरविंद श्रीधर, लेखापाल अनिल जैन के मार्गदर्शन में स्वयंसेवक रचना पेठारी ब्लॉक कन्नौद के द्वारा युवा शक्ति यूथ क्लब के सदस्यों कि सहभागिता से विद्यालय, पंचायत भवन व सड़कों के किनारों पर औषधीय, फलदार व छायादार पौधों का रोपण कर संरक्षण का संकल्प लिया।
इस अवसर पर यूथ क्लब अध्यक्ष व सामाजिक कार्यकर्ता रूपराम पेठारी ने कहा कि दिन-प्रतिदिन बिगड़ रहे पर्यावरण एवं प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए पौधारोपण करना अति आवश्यक है। पौधारोपण में हर व्यक्ति की भागीदारी होनी चाहिए। जीआरएस राकेश गोरस्या ने कहा कि पौधों को बचाने व उनकी सुरक्षा की जिम्मेदारी भी हम सभी को लेनी होगी तभी रोपित किए गए पौधे सुरक्षित रहेंगे और वृक्ष का रूप धारण करेंगे। आमजन के सहयोग से ही यह अभियान सफल होगा।वर्षा ऋतु उत्तम काल
उल्लेखनीय है कि वर्षाकाल पौधारोपण और पौधे वितरण का समय होता है। इस समय पौधों का सार्वजनिक रूप से वितरण कर जन सहभागिता से जन अभियान के रूप में प्रतिवर्ष प्रत्येक गांव में नेहरू युवा केंद्र संगठन देवास के द्वारा अपने स्वयंसेवकों व युवा मंडल सदस्यों के माध्यम से पौधारोपण का कार्य किया जाता है। युवा मंडल के सभी साथी स्कूल कालेज, पंचायत व शैक्षणिक संस्थानों, सड़कों के किनारों इत्यादि जगह पर पौधारोपण कार्य वर्षाकाल में निरंतर करते हैं।प्रकृति को बचाना हम सबका दायित्व
जलवायु परिवर्तन एक प्राकृतिक घटना है एवं पृथ्वी की उत्पत्ति के समय से ही होती है आ रही है, किन्तु मानव गतिविधियों, अनियोजित विकास व ग्रीन हाउस गैसों का अत्यधिक विसर्जन आदि के कारण पृथ्वी पहले की तुलना में बहुत तीव्र दर से गर्म होती जा रही है। जिससे कि हमारे इको-सिस्टम, जल संसाधन, खाद्य संसाधन व मनुष्य के स्वास्थ्य पर अत्यंत प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। बाढ़ व अकाल की घटनाओं में वृद्धि हो रही है। ग्लेशियर्स पिघल रहे हैं व कई प्रकार की नई-नई बीमारियां फैल रही है जो कि वर्तमान में हम सब कोरोना, स्वाइनफ्लू, बर्डफ्लू इत्यादि के रूप में अनुभव कर रहे हैं। यह समस्या वास्तव में गंभीर है और यह नितांत आवश्यक हो गया है कि इसके निराकरण के लिए ठोस उपाय किए जावें। इसके लिए आवश्यक है कि ग्रीनहाउस गैसों के विसर्जन में कमी लाई जावे, वनों का संरक्षण एवं पौधारोपण व उनके विकास पर समुचित ध्यान दिया जाए। क्योंकि पेड़ पौधे व वन अकाल प्राकृतिक आपदा की विभीषिका को कम करने एवं प्रदूषण को रोकने में बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका अदा करते हैं। कार्यक्रम में मुख्य रूप से शिक्षक मेहबूब खान, ओम सिटोले, रोहित कहार, हरिओम पेठारी, आंनद पंचोली, अशोक, रामचंदर, विनोद, राकेश सिटोले, लोकेश इत्यादि सदस्य उपस्थित रहे।

Royal Group
Sneha

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *

Back to top button

Adblock Detected

कृपया Adbloker बंद करें और क्रोम ब्राउजर मे ही ओपन करें