देवास- केपी कॉलेज अब प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस बन चुका है, जिसके बाद इसमें हर साल करोड़ों रुपए का फंड आएगा। सूत्रों के अनुसार, इसी फंड पर नजर होने की वजह से फर्जी तरीके से एल्युमिनी समिति का गठन कुछ लोगों ने मिलकर कर लिया।
जांच के दौरान यह पाया गया कि समिति का गठन शासन के नियमों के विरुद्ध हुआ है। इस संदर्भ में महाविद्यालय की एल्युमिनी समिति को तत्काल प्रभाव से भंग कर दिया गया है।
सूत्रों के अनुसार, फर्जी समिति के सदस्यों ने जन भागीदारी समिति के पैसों से जमकर पार्टी भी की। जैसे ही मामले की शिकायत हुई, प्राचार्य ने तुरंत इस नियम का हवाला देते हुए समिति भंग कर दी। नियम अनुसार, समिति को फर्म एंड रजिस्टर के माध्यम से रजिस्टर होना चाहिए था। इस मामले में कॉलेज की जन भागीदारी समिति के कई सदस्यों की भूमिका भी संदिग्ध पाई गई है।
शासन द्वारा नए नियमों के तहत गठित होने वाली समिति से उम्मीद की जाती है कि वह महाविद्यालय के पूर्व छात्रों के साथ बेहतर समन्वय स्थापित करेगी और महाविद्यालय की प्रगति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।